बाराबंकी 27 मई - पं0 जवाहर लाल नेहरू आदर्शवादी और सैद्धान्तिक छवि के महानायक थे। आप देश की राजनीति का वो चमकता हुआ सितारा थे जिसके ईर्दगिर्द भारतीय राजनीति का पूरा सिलसिला घूमता था। आपने आजाद भारत का प्रथम प्रधानमंत्री जिन्होने हमे आजादी दिलायी है उस आजादी की हम अपना सब कुछ कुर्वान करके रक्षा करेगे। बनकर देश को गौरवान्वित करने के साथ-साथ भारत की मजबूत नीव का निर्माण किया और शान्ति एवं संगठन के लिये गुट र्निपेक्ष आन्दोलन की रचना की, स्वाधीनता संग्राम के योद्धा के रूप में आप आजादी की लडाई में दस वर्षो से ज्यादा जिन्दगी जेल में बितायी और आजादी के बाद देश के प्रथम प्रधानमंत्री बने। नेहरू जी का पश्चिम बर्लिन, आस्ट्रिया और लोआस जैसे कई विस्फोटक मुद््दो के समाधान में जिसके लिये आपने 1955 को सर्वोच्च सममान भारत रत्न से सम्मानित किया गया। देश के विकास का सपना संजोये पं0 नेहरू का 27 मई 1964 को दिल का दौरा पडने से निधन हो गया। आधुनिक भारत के शिल्पकार पं0 जवाहर लाल नेहरू का निधन भारत के लिये दुखद बात थी। सम्पूर्ण देशवासियो को गहरा दुख हुआ वो एक लोकप्रिय नेता ही नही थे वो अपना प्यार बच्चो को ही नही लुटाते थे हकीकत में वह देश के लिये समर्पित थे। ऐसे महान जननायक की पुण्यतिथि के अवसर पर आज हमे यह प्रण लेना होगा कि हम अमरवीर स्वतंत्रता के सेनानियो
उक्त उद््गार अखिल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के प्रवक्ता/राज्यसभा सांसद डा0 पी0एल0 पुनिया ने आज भारत के प्रथम प्रधानमंत्री भारतरत्न स्व0 पं0 जवाहर लाल नेहरू की पुण्यतिथि के अवसर पर अपने ओबरी आवास पर आयोजित श्रद्धांजलि कार्यक्रम में उनके चित्र पर श्रद्धासुमन अर्पित करने के पश्चात्् व्यक्त किये।
पं0 जवाहर लाल नेहरू की पुण्यतिथि के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में उनके चित्र पर श्रद्धा सुमन अर्पित करने वालो में मुख्यरूप से उत्तर प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता तनुज पुनिया, अमरनाथ मिश्रा, छोटे लाल चैरसिया, इरफान कुरैशी, सरजू शर्मा, के0सी0 श्रीवास्तव, दीपक सिंह रैकवार, सै0 सुहेल अहमद, वीरेन्द्र यादव, शबनम वारिस, मुईनुद््दीन अंसारी, सिकन्दर अब्बास रिजवी, रामहरख रावत, विजयपाल गौतम, प्रदीप मौर्या, मो0 इजहार, दानिश खान, अतीक अहमद सद््दन, अनूप सिंह, पवन यादव, अखिलेश वर्मा, जगमोहन रावत, सत्य प्रकाश वर्मा, अम्बरीश रावत, सरफुद््दीन, त्रिभुवन यादव सहित दर्जनो की संख्या में कांग्रेसजन थे।
पं0 जवाहर लाल नेहरू आदर्शवादी और सैद्धान्तिक छवि के महानायक थे।